महामृत्युंजय मंत्र | Mahamrityunjay Mantra in Hindi

इस धरती पर निवास करने वाला हरेक मनुष्य ज्यादा से ज्यादा दिन जीना चाहता है लेकिन इस आधुनिक युग में मनुष्य का जीवन कम से कमतर होता जा रहा है। इसके लिए मनुष्यों को अपने सेहत पर ध्यान देने के साथ-साथ आध्यात्मिक मार्ग भी अपनाना चाहिए। महामृत्युंजय मंत्र (Mahamrityunjay Mantra in Hindi) को सब मंत्रो में सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। यह भगवान शिव का मंत्र है। भगवान शिव को ही महामृत्युंजय भी कहा जाता है।

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महामृत्युंजय मंत्र | Mahamrityunjay Mantra in Hindi

ॐ हौं जूं स: ॐ भूर्भुव: स्व: ॐ त्र्यम्बकं
यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम् उर्वारुकमिव
बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्
ॐ स्व: भुव: भू: ॐ स: जूं हौं ॐ !!

महामृत्युंजय मंत्र का अर्थ: हे तीन नेत्र वाले देवता हम आपकी पूजा करते है, आपकी सम्मान करते है। हे सुगंध बिखेरने वाले देवता आप फल देने वाले है, आप सारे सृष्टि का पोषण करने वाले है। हे मृत्यु पर विजय प्राप्त करने वाले देवता आप हमें मोक्ष की प्राप्ति करें।

इस मंत्र का जाप सप्ताह में मात्र एक दिन करना होता है। इस मंत्र का जाप सोमवार को करना होता है। इस मंत्र का जाप सुबह या शाम को अपने इच्छा अनुसार किया जा सकता है। इस मंत्र के जाप से पहले शारीरिक स्वच्छता जरूरी है। इस मंत्र का जाप महादेव के प्रतिमा के सामने करना होता है।

इस मंत्र का जाप करते समय पद्मासन की मुद्रा में बैठ जाए और हाथ में रुद्राक्ष की माला ले ले। माला फेरते हुए इस मंत्र का जाप ग्यारह बार रना होता है। इस मंत्र का जाप सोलह सोमवार करने से उचित फल की प्राप्ति होती है। इस मंत्र के जाप से जीवनी शक्ति बढ़ती है और मनुष्य की आयु लम्बी होती है।

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इस मंत्र के प्रभाव से सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। इस मंत्र से व्यक्ति के अंदर निडरता आती है और टेंशन खत्म होती है। इस मंत्र का जप करने से मनुष्य असमय मौत का शिकार नहीं होता। भगवान शिव के इस मंत्र के प्रभाव से वांछित फल की प्राप्ति होती है।

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