प्रत्येक इंसान अपने जीवन में सुख समृद्धि पाकर अपने जीवन को स्थिर बनाना चाहता है। अगर इंसान के जीवन में स्थिरता कायम रहती है तो वह खुद प्रगति करता है और अपने समाज और देश के लिए एक बहुमूल्य संसाधन बनता है। अतः मनुष्य को अपने जीवन में स्थिरता प्राप्त करने के लिए शैलपुत्री माता (Shailputri Mata Mantra in Hindi) मंत्र का जाप करना होता है।
शैलपुत्री माता मंत्र | Shailputri Mata Mantra in Hindi
ऊँ देवी शैलपुत्र्यै नमः
या देवी सर्वभूतेषु शैलपुत्री रूपेण संस्थिता
नमस्तस्यै, नमस्तस्यै, नमस्तस्यै नमो नम:
वन्दे वाञ्छितलाभाय चन्द्रार्धकृतशेखराम्
वृषारुढां शूलधरां शैलपुत्रीं यशस्विनीम्
शैलपुत्री माता मंत्र का अर्थ: हे देवी शैलपुत्री आप हिमालय की पुत्री है, आप इस संसार में स्थिरता प्राप्त करती है। हे देवी शैलपुत्री आपको हमारा नमस्कार है। हे देवी शैलपुत्री आप अपने शीश पर चन्द्रमा को धारण करती है। हे देवी शैलपुत्री आप हम पर कृपा करें।
शैलपुत्री माता मंत्र का जाप प्रातः काल में सूर्योदय के बाद किया जाता है। इस मंत्र का जाप करने से पहले स्नान करके निवृत्त हो जाना होता है। इस मंत्र का जाप शैलपुत्री माता के चित्र केस सामने करना होता है। इस मंत्र का जाप करते समय माता के पैरों सिंदूर और अक्षत चढ़ाना होता है। इस मंत्र के जाप के दौरान माता को सफेद रंग का पुष्प अर्पित करना होता है।
इस मंत्र के जाप के दौरान माता का आरती करना होता है और भोग लगाना होता है। शैलपुत्री माता मंत्र के जाप के प्रभाव से व्यक्ति का जीवन स्थिर बनता है। इस मंत्र के जाप के प्रभाव से सुख और सौभाग्य का वरदान मिलता हैं। इस मंत्र के जाप के प्रभाव से व्यक्ति के जीवन में सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है।